Saturday, February 4, 2012

आतंकवाद की सुनामी !


सत्‍यवादी   प्रस्‍तुति: डॉ0 संतोष राय

सुमानी लहरों की तरह इस्लाम भी जहाँ जाता है ,वहां सिवाय बर्बादी के कुछ भी नहीं बचताहै .लोगों को जापान की सुनामी को देखकर उसकी भयानकता का अंदाजा कर लिया होगा .जापान की सुनामी एक प्राकृतिक आपदा थी ,किसका जापान के लोगों ने हिम्मत से सामना किया और उसपर काबू कर लिया है .लेकिन लोगों को यह पता नहीं है कि जल्द ही भारत में इस्लामी आतंक की सुनामी आनेवाली है .और यह सुनामी प्राकृतिक नहीं ,बल्कि यहाँ के मुसलमानों ,और हमारी अदूररदर्शी सरकार द्वारा बुलवाई जाएगी .लेकिन हम खतरे की गंभीरता को नहीं समझ रहे हैं .और अपनी आँखें बंद करके बैठे हैं .हम आये दिन सुनते रहाहे हैं कि,भारत में जिहादियों का दल प्रवेश कर चूका है ,जो कभी भी और कहीं भी वारदात कर सकता है .सरकार यह भी जानती है कि ,इन जिहादियों को बाहर से आर्थिक मदद और देश के मुसलमानों का समर्थन प्राप्त है .क्योंकि बिना उनकी मदद से बड़े पैमाने पर आतंकी वारदातें संभव नहीं हो सकती हैं ,
1 -इस्लामी सुनामी का दायरा
भारत का आज कोई स्थान बाकी नहीं रह गया है जो ,इस्लाम की सुनामी के दायरे में नहीं हो .हमारी संसद ,दिल्ली के बाजार ,मुंबई की लोकल ट्रेन ,लालकिला ,अक्षरधाम ,बनारस के घाट ,शिवाजी टर्मिनस ,ताजमहल होटल ,सेना के कैम्प ,हमारे सैनिक और निर्दोष नागरिक सब इस्लामी सुनामी के निशाने पर हैं .लेकिन हमारी सेकुलर सरकार इतनी अंधी है कि,किसी बड़ी वारदात का इन्तेजार कर रही है .हमारी न्याय व्यवस्था इतनी सुस्त है कि जब कोई वारदात होती है तब तक अपराधी भाग चुके होते हैं .फिर जब बड़ी मुश्किल से पकडे जाते हैं तो ,उनको सजा दिलवाने में बरसों लग जाते हैं .और सजा देने की बजाये उनको सरकार के मेहमान की तरह रखा जाता है .और उनपर करोड़ों रूपया खर्च कर दिया जाता है .और उनको सजा दिलाने की जगह बचने की कोशिश की जाती है. अपराधियों को इतना लम्बा अवसर दिया जाता है ,कि उनका हौसला और बढ़ जाता है .कि वह किसी को बंधक रखकर सरकार पर दवाव डाल कर अपनी रिहाई का सौदा कर सकें .फिर उस से बड़ी वारदात कर सकें .लेकिन ऐसा इसलिए नहीं हो सकता है ,क्योंकि सरकार मुसलमानों के वोट नहीं खोना चाहती है .और जादातर नेता दोगले और सत्ता के लोभी हैं .
2 -सरकार की आतंकियों से हमदर्दी ?
सरकार बरसों तक आतंकियों को जेलों में रखकर उनको मेहमान की तरह पालती रहती है ,और उनका परोक्ष समर्थन कराती है .यही कारण था जिस से कंधार अपहरण कर्ताओं को छोड़ना पड़ा था .और महबूबा मुफ्ती के बदले आतंवादियों को रिहा कर दिया गया था .सब को पता है कि जब भी ऐसे आतंकियों को रिहा किया गया ,वह और मजबूती से और दोगुनी ताकत से और संगीन वारदातों को अंजाम देते रहे हैं .अज भी अफजल गुरु का मामला लटक रहा है .हमें सरकार कि मंशा पर शक हो रहा है कि ,वह अफजल को सजा देना चाहती है ,या उसे भाग जाने का मौका देना चाहती है ,यही बात अजमल कसाब के बारे में है .यदि सरकार की मंशा में खोट नहीं होती तो .वह अदालत से सरे काम छोड़कर मामले को जल्दी निपटा देती .लेकिन गृह मंत्रालय अपराधियों को बचाने के रास्ते खोज रही है .
3 -कांगरेस आतंकियों को क्यों बचाना चाहती है ?
विकी लीक्स ने गुप्त दस्तावेजों से खुलासा किया है कि,केन्द्रीय मंत्री गुलाम नबी आजाद के अफजल गुरु की फांसी की दया की याचिका के लिए सरकार पर दवाब डाला था ,और कहा की यदि सरकार अफजल को फंसी की सजा होने देती है तो ,कांगरेस का पारंपरिक मुस्लिम वोट हाथों से निकल जायेगा .जबकि तत्कालीन राष्ट्रपति अब्दुलकलाम फाँसी के पक्ष में थे .लेकिन सोनिया ने फांसी की सजा को रुकवा दिया था .
4 -आतंकी फिर क्यों सर उठा रहे हैं ?
जैसे ही गोधरा काण्ड का फैसला आया ,मुल्ले मौलवी अपराधियों को बचाने की तरकीबे सोचने लगे हैं .और छाहते हैं देश में फिर से दंगा कराकर लोगों का ध्यान बटाया जाये .और दंगा कर के अपराधियों को छुड़ा लिया जाये .
दैनिक जागरण 16 मार्च 2011 के अनुसार सहारण पुर में जमीअत उलमा ए हिंद के सदर मौलाना अरशद मदनी ने कहा की महात्मा गाँधी की हत्या सरदार पटेल ने करवायी थी .क्योंकि वह भारत में मुसलमानों को नहीं रहना चाहते थे .मदनी ने यह बयान 15 /3 /2011 मंगलवार को इस्लामिया इंटर कालेज में दियाथा .मदनी ने दावा किया की सरदार ने गाँधी पर दो बार बमों से हमला करवाया था .और आखिर में गाँधी को शहीद करावा दिया .
मुलाना ने यह भी कहा की .मुसलमानों ने अपनी कुर्बानियों से देश को आजाद कराया था ,लेकिन हिन्दू उनका नाजायज लाभ उठा रहे हैं .यदि मुसलमान अपने बुजुर्गों की कुर्बानियों को याद रखेंगे तो देश पर फिर से उनका अधिकार हो जायेगा .
बड़े शर्म की बात है की ,यह सब जानकर भी कांगरेसियों का कोई मई का लाल एक भी शब्द कहने की हिम्मत नहीं कर सका .सबको सांप सूँघ गया .यदि यही बात किसी हिन्दू ने कही होती तो कांगरेसी नंगे नाचने लगते
.दिनांक 23 नवम्बर 2011 को आज तक टी वी में पाकिस्तान में रहने वाले हिन्दुओं पर होने वाले अत्याचारों के बारे में जो रिपोर्ट और विडिओ दिया है ,उस से हरेक का दिल दहल जायेगा .फिर भी भारत के सेकुलर लोग नादान हिन्दू ,पाकिस्तान से जान और धर्म बचाकर 239 उन हिन्दू लोगों की दुर्दशा देख कर भी सबक नहीं लेते .याद रखिये जब तक मुसलमान अल्पसंख्यक रहते हैं ,तब तक भाईचारे का ढोंग करते है .लेकिन जैसे ही उनकी संख्या बढ़ जाएगी यहाँ के हिन्दुओं की वैसी ही दशा हो जाएगी ,जैसी पाकिस्तान के हिन्दुओं की हो गयी है .समझदारों को इशारा ही बहुत होता है , आज तक के इस शीर्षक को पढ़िए और दिए गए विडिओ को ध्यान से देखिये .-
5-पाकिस्‍तान में जुल्‍म-ओ-सितम झेलते हिन्‍दू !
http://aajtak.intoday.in/videoplay.php/videos/view/68723/2/206/Pakistan-Hindus-urge-govt-to-take-steps-to-end-communal-violence.html
हिन्दुओ तुम्हें बर्बाद करने के लिए क्षद्म सेकुलरिज्म और जिहादी आतंकवाद की सुनामी कभी भी आ सकती है !
जापान तो सुनामी से बच गया ,लेकिन इस्लामी सुनामी से देश को कौन बचाएगा ?

No comments: